बंदरों के आतंक से ग्रामीण परेशान, लोगों की मांग, चलाया जाए बंदर पकड़ो अभियान।
उपमंडल सहित जिले के गाँवो में बंदरों के आतंक से ग्रामीण बेहद परेशान है।जो आए दिन छोटे बच्चों पर हमला कर घायल कर रहे हैं।ग्रामीणों की मांग है कि पंचायत विभाग विशेष अभियान चलाकर बंदरों क पकड़ कर दूर सुरक्षित स्थान पर छोड़े।
खालिद चाहलका ने बताया कि शनिवार की सुबह उनके चार वर्षीय नवासे रजत अली पर अचानक बंदरों ने हमला कर दिया।बताया कि पहले गांव में एक भी बंदर नहीं था लेकिन पिछले तीन महीनों से बंदरों का भारी आतंक है।इसी तरह के आरोप राठीवास की रहने वाली सीमा देवी ने भी लगाए हैं।सीमा देवी का कहना है कि नगर पालिका प्रशासन द्वारा जो शहर से बंदर पकड़े गए थे उन्हें गांवों में छोड़ा गया है।बताया कि उनके यहां भी एक बुजुर्ग सहित दो बच्चे बंदरों के हमले में घायल हो चुके हैं।वही गांव छारोडा के रहने वाले आरिफ ने बताया कि बंदरों के एक झुंड ने उनके कीमती सामान को क्षतिग्रस्त कर दिया।अरावली से सटे गाँवो में बंदरों का आतंक सबसे ज्यादा है। ग्रामीणों की मांग है कि पंचायत बंदरों को पकड़ने के लिए एक विशेष अभियान चलाएं।