
चंडीगढ़: हरियाणा में कल शाम से ही भयंकर गर्मी से राहत मिली है। बारिश ने प्रदेश के बढ़ते तापमान पर कुछ रोक लगा दी है। मौसम विभाग ने भी राज्य के कई जिलों में बारिश, आंधी और बिजली गिरने की चेतावनी दी है। इसके साथ ही किसानों को भी सावधानी बरतने की सलाह दी गई है, क्योंकि यह गेहूं की कटाई का समय है और किसी भी तरह की लापरवाही से फसल खराब हो सकती है।
हरियाणा में तेज़ आंधी का अलर्ट
मौसम विभाग के पूर्वानुमान से ही कल शाम से हरियाणा के कई इलाकों में बूंदाबांदी और तेज हवाए चली। हुई है। शुक्रवार को भी यही स्थिति रह सकती है। मौसम विभाग के अनुसार, बापौली, करनाल, रादौर, पानीपत, कैथल, अंबाला जैसे कई जिलों में 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलने और बिजली गिरने की संभावना है। आसमान में बादल छाए रहेंगे और बूंदाबांदी की भी संभावना है।
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पारा आया नीचे लेकिन गर्मी जारी
गुरुवार को तापमान में औसतन 0.6 डिग्री सेल्सियस की कमी आई, लेकिन यह अभी भी सामान्य से करीब 5.5 डिग्री अधिक है। गुरुवार को हिसार राज्य का सबसे गर्म जिला रहा, जहां तापमान 42.8 डिग्री सेल्सियस रहा। इस बीच, सोनीपत और रेवाड़ी जैसे जिलों में भी तापमान में मामूली बदलाव हुआ, लेकिन गर्मी का प्रकोप जारी है।
पश्चिमी विक्षोभ का असर – बादल और बूंदाबांदी
चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार के कृषि मौसम विज्ञानी डॉ. मदनलाल खीचड़ के अनुसार, अब सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ के कारण राज्य में मौसम में बदलाव आया है। इसका असर 14 अप्रैल तक देखने को मिल सकता है। इसके बाद से तापमान में फिर से बढ़ोतरी होने की संभावना है। ऐसे में किसानों को खास तौर पर सतर्क रहने की जरूरत है।
किसानों के लिए सतर्कता
कृषि विज्ञान केंद्र, भिवानी के मौसम वैज्ञानिक डॉ. देवीलाल ने किसानों को गेहूं की कटाई करते समय मौसम को ध्यान में रखते हुए काम करने की सलाह दी है। उन्होंने बताया कि कटाई के बाद फसल को तुरंत बांधकर सुरक्षित स्थान पर रखें, ताकि बारिश या तेज हवा के कारण फसल खराब न हो। मशीनों से कटाई करने वाले किसानों को विशेष सावधानी बरतनी चाहिए और फसल को खुले क्षेत्रों से दूर रखना चाहिए।
परिवर्तनशील रहेगा मौसम?
मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि अगले कुछ दिनों तक बादल छाए रह सकते हैं और हल्की बारिश की संभावना भी बन सकती है। हालांकि इससे तापमान में कुछ राहत जरूर मिल सकती है, लेकिन गर्मी पूरी तरह खत्म नहीं होने वाली है। ऐसे में किसानों और आम लोगों को पहले से ही सतर्क रहना होगा।